छत्तीसगढ़दुर्ग

सीईओ ने ली ग्रामीण क्षेत्रों में चल रहे स्वच्छता अभियान की जानकारी….

दुर्ग / जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी अश्वनी देवांगन ने आज जिला पंचायत के सभाकक्ष में अधिकारियों की बैठक ली और ग्रामीण क्षेत्रों में चल रहे स्वच्छता अभियान की जानकारी ली। उन्होंने ग्राम पंचायत में साफ-सफाई का कार्य करने तथा नियमित रूप से डोर टू डोर कचरा एकत्रित करने को कहा। साथ ही कचरा संग्रहण के लिए स्वच्छता कर बिल के बारे में भी जानकारी ली। उन्होंने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में जागरूकता अभियान चलाकर लोगों को डोर टू डोर कचरा एकत्रित करने के लिए प्रेरित करें। उन्होंने ग्रामीण क्षेत्रों में कृषि सखियों के माध्यम से किसानों को बीज उपलब्ध कराने कहा।

ग्राम पंचायत स्तर पर पीएमजेजेबीवाई पीएमएसवाई के तहत किसी भी कारण से मृत्यु होने पर जिला पंचायत स्तर से बीमा राशि दावा भुगतान जिला पंचायत स्तर पर बीमा राशि देने में सहायता की जानी है। महात्मा गांधी मनरेगा व स्वच्छ भारत मिशन के तहत अभिसरण से निर्माण कार्य पूर्ण हो चुके हैं। मनरेगा व आवास के अभिसरण से जो निर्माण कार्य पूर्ण हो चुके हैं, उन्हें एमआईएस में अपडेट किया जाए।

अमृत सरोवर के निर्माण कार्य में दुर्ग के लिए 15, धमधा के लिए 15 तथा पाटन के लिए 12 प्रस्ताव दिये गये हैं। शासन की इस महत्वपूर्ण योजना को गंभीरता से लेने तथा निर्माण के लिए अधिक प्रस्ताव देने को कहा गया। स्वच्छ भारत मिशन सामुदायिक, व्यक्तिगत शौचालयों की लंबित जियो टैगिंग को तत्काल पूर्ण किया जाए। कचरा संग्रहण के लिए पंचायतों को प्रेरित किया जाए। किसी भी स्थिति में कचरा बाहर न फेंका जाए।

ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छता कर निर्धारित करने तथा हाट, बाजार, दुकानों में नियमित रूप से बिल राशि वसूलने को कहा गया। उप अभियंता एवं जिला स्तरीय अधिकारी की टीम से ओडीएफ की तैयारी करने तथा घोषित सर्वे की जांच करने के निर्देश दिए गए। लखपति दीदी स्व-सहायता समूह की बहनों को आत्मनिर्भर बनाने के लिए मनरेगा अंतर्गत अभिसरण के स्व-सहायता समूह की बहनों के लिए योजना तैयार करने को कहा। उन्होंने संबंधित विभाग अंतर्गत बकरी, गाय, मुर्गी, मछली बीज के वितरण की जानकारी अनुसार अभिसरण के तहत निर्माण कार्य स्वीकृत करने को भी कहा।

स्वयं सहायता समूह की बहनों को कन्वर्जेंस के माध्यम से लखपति दीदी की श्रेणी में शामिल करने के लिए लक्ष्य आधारित कार्ययोजना तैयार की जाए। ग्रामीण क्षेत्रों में बीज उत्पादन निगम में कृषि सखी के माध्यम से समन्वय स्थापित कर किसानों को बीज उपलब्ध कराया जाए। स्वयं सहायता समूह की बहनों को बैक लिंकेज करने को भी कहा गया। बैठक में समस्त परियोजना अधिकारी एवं जनपद सीईओ उपस्थित थे।

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