छत्तीसगढ़भिलाई

बाबा की बारात में भक्ति में झूमे भिलाइयंस, बारात में बन गया वर्ल्ड रिकॉर्ड, 150 से ज्यादा झांकियों को देखने पहुंचे हजारों लोग…

पूर्व सीएम रमन, भाजपा अध्यक्ष साव समेत दिग्गज नेता हुए शामिल

भिलाई। इस साल भी भोले बाबा की बारात ने दो वर्ल्ड रिकॉर्ड बना लिए। सबसे ज्यादा भोले बाबा एवम पार्वती स्वरूप और सबसे ज्यादा 251 झांकी के मामलों में यह वर्ल्ड रिकॉर्ड बनाया गया। जिसका सर्टिफिकेट बोल बम एवं सेवा कल्याण समिति के अध्यक्ष दया सिंह को पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह के समक्ष डॉ. मनीष विश्नोई द्वारा दिया गया। वैसे तो भोले बाबा की बारात का इस साल का सबसे भव्य आयोजन माना जा रहा है।

आयोजन समिति के अध्यक्ष दया सिंह ने बताया कि, खुर्सीपार भिलाई में बाबा भोलेनाथ की ऐसी बारात निकाली कि गोल्डन बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड्स वाले भी हैरान रह गए। लाखों भक्तों की संख्या में भिलाई, दुर्ग सहित दूसरे जिलों व प्रदेश से भक्त बारात में शामिल होने आए। बाबा की बारात हर साल की तरह महाशिवरात्रि की शाम इंदिरा नगर हथखोज से शुरू हुई। इसके बाद ये ट्रांसपोर्ट नगर रोड, केनाल रोड, बोल बम चौक, नंदी तिराहा होते हुए जोन 1 व जोन 2 एप्रोच रोड से निकलकर दुर्गा मंच पर समाप्त हुई।

यहां शिव पार्वती का काल्पनिक विवाह कराकर भगवान का आशीर्वाद लिया गया। बाबा की बारात में बाराती बनकर पूर्व सीएम डॉ. रमन सिंह, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष अरूण साव, धर्मलाल कौशिक, सरोज पांडे राज्यसभा सांसद, विजय बघेल सांसद दुर्ग भाजपा जिलाध्यक्ष बृजेश बिचपुरिया समेत अन्य दिग्गज नेताओं ने मंच पर शिरकत की। भाजपा के सभी पार्षद भी शामिल हुए।

दया सिंह ने बताया कि, छत्तीसगढ़ सहित देशभर की 131 झांकियों को शामिल किया गया। इसमें दुर्ग, बेमेतरा, कवर्धा, मुंगेली, भाटापारा, जांजगीर चांपा, जगदलपुर, कांकेर आदि क्षेत्रों से झांकियां पहुंची। बारात में बड़ी संख्या में लोग शिव पार्वती, भूत पिशाच, देव दानव व बंदर भालू की वेशभूषा में नाचते हुए दिखे। विशाल झांकी के साथ पावर जोन डीजे विशेष आकर्षण का केन्द्र रहा। हरियाणा और दक्षिण भारत से आई झांकियों ने लोगों को खूब आकर्षित किया।

इन झांकियों में राम रथ, राम रावण युद्ध, गंगा अवतरण, भोले बाबा का अघोरी रूप, भूतों की मंडली, भगवान गणेश द्वारा मातृ पितृ पूजन, त्रिदेव (ब्रह्मा-विष्णु-महेश) के दर्शन हुए। बाबा की बारात में हरियाणा से बाबा मलंग जिन्हें पागल या पगला बाबा के नाम से भी जाना जाता है की झांकी पहुंची थी। उसमें बाबा मलंग अघोरी शिव के रूप में दिखे। उनके साथ बड़ी संख्या में भूत पिशाच की सेना थी।

अघोरी शिव नर कंकाल के सिंघासन में भस्म रमाकर बैठे थे और उनके भूत बैताल मस्ती में नाच गा रहे थे। इस दौरान खुद पगला बाबा ने शिव तांडव करके लोगों को चौंका दिया। उनकी भूत पिशाच की सेना नर मुंडों की माला पहनकर नाचना और उनके मुंह से लाल रंग ऐसा निकल रहा था मानों वो किसी का रक्त पीकर नाच रहे हैं। सभी की आखों में विशेष रूप से पत्थर की पुतली लगाई गई थी।

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